भाकपा माले का 5 वां बैरिया प्रखण्ड सम्मेलन सम्पन्न*
बैरिया ,12 अगस्त। म ध्य विधालय बैरिया में भाकपा माले का 5 वां प्रखण्ड सम्मेलन काॅमरेड दिवंगत चंडी हजरा नगर में संपन्न हुआ, सम्मेलन कि सुरूवात आसमान छूती महंगाई और बेरोजगारी पर रोक लगाने, सांप्रदायिक, फासीवादी मोदी सरकार के खिलाफ विरोध मार्च करने के साथ किया गया,
सम्मेलन स्थल पर पार्टी का झंडात्तोलन कामरेड झोझ पासवान ने किया, देश के आजादी के आंदोलन और भाकपा-माले द्वारा जारी किसान आंदोलन के दौरान शहीद व दिवंगत कामरेडों को एक मिनट का मौन श्रध्दांजलि दिया गया,
सम्मेलन की अध्यक्षता सुनील कुमार राव, सुरेन्द्र चौधरी, विनोद कुशवाहा, मुजमील मियां आदि ने किया, सम्मेलन का प्रवेक्षक जिला कमिटी सदस्य जवाहर प्रसाद के देख रेख में हुआ,
सम्मेलन को सम्बोधित करते हुए सुनील कुमार राव ने कहा कि मोदी सरकार आसमान छूती महंगाई, बेरोजगारी के लिए जिम्मेदार है, आगे कहा कि खाद्य पदार्थो पर जीएसटी लगाकर गरीबों के थाली से भोजन छिनने का काम किया है, बिहार की तेजी से बदलती राजनीतिक परिस्थिति पर टिप्पणी व्यक्त करते हुए कहा कि इसका संदेश देशव्यापी है. भाजपा द्वारा संविधान-लोकतंत्र पर लगातार किए जा रहे हमले व देश में तानाशाही थोपने के प्रयासों के खिलाफ जनाधिकारों की रक्षा में बिहार का यह राजनीतिक डेवलपमेंट पूरे देश को एक नई दिशा देगा और नए राजनीतिक ध्रुवीकरण का आधार तैयार करेगा.
सुरेन्द्र चौधरी ने कहा कि यूरिया की कालाबाजारी और देश की संपत्तियों को अडानी अम्बानी के हाथों नीलाम करने पर तत्काल रोक लगाने की मांग किया,उन्होंने आगे कहा कि भाजपा की नफरत व विभाजनकारी राजनीति के खिलाफ सड़कों पर मजबूती से लड़ना होगा. हमें उम्मीद है कि बिहार की वैकल्पिक सरकार जनता के चिरलम्बित सवालों को हल करने के लिए सही कदम उठाएगी और बुलडोजर राज में उठाए गए तमाम कदमों को वापस लेगी
प्रवेक्षक जिला कमिटी सदस्य जवाहर प्रसाद ने कहा कि मोदी सरकार जन समस्याओं को दरकिनार कर देश में साम्प्रदायिक उन्माद भड़काने में लगी है, मोदी सरकार ने मजदूरों को अंग्रेजी जमाने से हासिल अधिकारों पर हमला करते हुए 8 घंटे काम के बदले 12 काम का घंटा करमजदूरों के साथ विशवासघात किया है,
माले नेता मुजमील मियां ने कहा कि किसानों के फसलों का लाभकारी मूल्य,मजदूरों को साल में दो सौ दिन काम, 700 रुपया दैनिक मजदूरी और वास आवास की गारंटी करने,सभी रिक्त पदों पर स्थायी बहाली करने,अग्निपथ योजना वापस लेने आदि मांगो को लेकर आंदोलन करने का आह्वान किया,
अंत में 13 सदस्यीय नयी कमिटी बनाई गई, जिसमें सुनील कुमार राव,नवीन कुमार, विनोद कुशवाहा, जोखू चौधरी, मोजंमील हुसैन,राजेन्द्र प्रसाद, आशाराम राम,सुरेन्द्र साह, हारून गद्दी, ठाकुर साह,रामनाथ महतों, भिखारी बैठा को अंचल कमिटी सदस्य तथा पुनः सुरेन्द्र चौधरी को सर्वसम्मति से अंचल सचिव के रूप में चुनाव किया गया,
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