पश्चिम चंपारण जिला स्थित किसानों का बकाया ईंख मूल्य भुगतान नहीं करने पर मझौलिया सुगर इण्डस्ट्रीज के विरूद्ध दर्ज हुआ नीलाम पत्र ।




 

बेतिया, 03 फरवरी। पश्चिम चंपारण जिला के मझौलिया सुगर इण्डस्ट्रीज, मझौलिया द्वारा पेराई वर्ष 2019-20 में किसानों को बकाया ईंख मूल्य भुगतान नहीं करने के मामलों को जिलाधिकारी, पश्चिम चम्पारण द्वारा अत्यंत गंभीरता से लिया गया है। जिलाधिकारी के निदेश के आलोक में ईंख पदाधिकारी, बेतिया अंचल द्वारा मझौलिया सुगर इण्डस्ट्रीज के विरूद्ध नीलाम पत्र वाद दायर किया गया है। नीलाम पत्र दायर होने के उपरांत बकाये राशि की वसूली सूद सहित किया जायेगा।

इसी परिप्रेक्ष्य में जिलाधिकारी कार्यालय प्रकोष्ठ में जिलाधिकारी की अध्यक्षता में आज एक समीक्षा बैठक सम्पन्न हुयी। समीक्षा के क्रम में ईंख पदाधिकारी को निदेश दिया गया कि जिले के अन्य चीनी मिलों को बकाया ईंख मूल्य का भुगतान अविलंब गन्ना किसानों को करने को कहा जाय। जिलाधिकारी ने कहा कि जिला प्रशासन गन्ना किसानों के बकाये भुगतान को लेकर प्रयासरत है। 

ईंख पदाधिकारी, बेतिया अंचल द्वारा बताया गया कि मझौलिया सुगर इण्डस्ट्रीय प्रा0 लि0, मझौलिया द्वारा पेराई वर्ष 2019-20 में कुल-5592759.20 क्विंटल गन्ना किसानों से खरीदा गया, जिसका कुल राशि-1681029105.15 रूपया ईंख मूल्य देय है। मझौलिया चीनी मिल में दिनांक-21.03.2020 को गन्ने की पेराई समाप्त कर चीनी मिल बंद कर दी गयी। मझौलिया सुगर इण्डस्ट्रीज द्वारा दिनांक-29.01.2021 तक मात्र 1295211668.85 रूपया ही गन्ना किसानों को भुगतान किया गया है। शेष राशि-385797436.30 रूपया ईंख मूल्य का बकाया है। 

उन्होंने बताया कि बिहार ईंख अधिनियम 1981 की धारा-43 (2) के अनुसार ईंख मूल्य का भुगतान चीनी मिल प्रबंधन को ईंख खरीद के 14 दिनों के अंदर कर देने का प्रावधान है। इसके बावजूद मझौलिया चीनी मिल द्वारा किसानों को बकाया ईंख मूल्य का भुगतान नहीं किया गया। बकाया ईंख मूल्य भुगतान को लेकर संबंधित किसानों द्वारा कई बार जिला प्रशासन से अनुरोध किया गया। 

उन्होंने बताया कि इस संदर्भ में गन्ना किसानों को अविलंब बकाया ईंख मूल्य भुगतान करने हेतु बारंबार निदेशित किया गया। पेराई वर्ष 2019-20 के बकाया ईंख मूल्य को एक सप्ताह में शत-प्रतिशत भुगतान हेतु विभागीय निदेश का अनुपालन चीनी मिल प्रबंधन द्वारा नहीं किया गया। जिला पदाधिकारी द्वारा भी कई बार बकाया राशि के भुगतान हेतु कई बार स्मारित किया गया परंतु चीनी मिल प्रबंधन द्वारा गन्ना किसानों को बकाया राशि का भुगतान नहीं किया गया।

ईंख पदाधिकारी ने बताया कि मझौलिया चीनी मिल प्रबंधन द्वारा बिहार ईंख (आपूर्ति एवं खरीद का विनियमन) अधिनियम, 1981 की धारा (43) (1), (2) का स्पष्ट उल्लंघन किया गया है। इस अधिनियम की धारा-43 (2) में स्पष्ट प्रावधान है कि ईंख आपूर्ति की तारीख से चौदह दिनों के अधिक दिनों तक ईंख का मूल्य न चुकाए तो बकाए पर आपूर्ति की तारीख से धारा-51 में विनिर्दिष्ट दर से ब्याज देने का भागी होगा। इसी अधिनियम की धारा-43 की उपधारा-6 के अंतर्गत प्रावधान है कि ईंख मूल्य का कोई बकाया उस पर ब्याज के साथ यदि कोई हो लोक-मांग के या भू-राजस्व के रूप में वसूलनीय होगा। इस तरह बकाया राशि 385797436.30 पर सूद की राशि 31828288.49 कुल राशि-417625724.79 रूपये की वसूली हेतु नीलाम पत्र दायर किया गया है।

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